ShareChat
click to see wallet page
search
#खिचड़ी कोई भी पका सकता है लोकतंत्र एवं प्रजातंत्र की रक्षार्थ है यह खिचड़ी।
खिचड़ी कोई भी पका सकता है लोकतंत्र एवं प्रजातंत्र की रक्षार्थ है यह खिचड़ी। - 7.X हास्य व्यंग समझ२का फेर है इसी का नाम सम्राट अशोक का देश है पहले छेद वाले पैसे / सिक्के चलते थे वर्तमान में छेदी वाली टूटी फूटी प्रेसे चला लेते हैं लोग यार 7.X हास्य व्यंग समझ२का फेर है इसी का नाम सम्राट अशोक का देश है पहले छेद वाले पैसे / सिक्के चलते थे वर्तमान में छेदी वाली टूटी फूटी प्रेसे चला लेते हैं लोग यार - ShareChat